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आचार्य विनोबा भावे का शिक्षा दर्शन और उसकी प्रासंगिकता विषय पर राष्ट्रीय संगोष्ठी 25 से
अवध विश्वविद्यालय में राष्ट्रीय संगोष्ठी की अध्यक्षता करेंगी राज्यपाल आनन्दीबेन पटेल
संगोष्ठी में देशभर के विद्वानों द्वारा विनोबा भावे के अनछुए पहलुओं को उजागर किया जायेगा
फैशन डिजाइनिंग की छात्राओं द्वारा तैयार किए गए हैंडीक्राफ्ट, डेकोरेटिंग का प्रदर्शन एवं बिक्री
अयोध्या। डाॅ0 राममनोहर लोहिया अवध विश्वविद्यालय में आचार्य विनोबा भावे का शिक्षा दर्शन और उसकी प्रासंगिकता विषय पर तीन दिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन 25 अप्रैल सेे किया जा रहा है। विश्वविद्यालय के संत कबीर सभागार में प्रौढ़ एवं सतत शिक्षा विभाग एवं भारतीय दार्शनिक अनुसंधान परिषद नई दिल्ली के संयुक्त संयोजन में संगोष्ठी होगा। कार्यक्रम के उद्घाटन सत्र की अध्यक्षता प्रदेश राज्यपाल व कुलाधिपति श्रीमती आनंदीबेन पटेल आॅनलाइन करेंगी।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि अवध विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति प्रो0 राम अचल सिंह होंगे। संगोष्ठी के मुख्य वक्ता प्रौढ़ एवं सतत शिक्षा विभाग, नई दिल्ली के प्रो0 विजय प्रकाश दुबे रहेंगे। कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि भारतीय इतिहास अनुसंधान परिषद नई दिल्ली सचिव प्रो0 कुमार रत्नम, विनोबा सेवा आश्रम, बस्तरा शाहजहांपुर के रमेश भैया एवं महाराजा रणजीत सिंह कॉलेज आफ प्रोफेशनल साइंसेज इंदौर के हिंदी विभागाध्यक्ष प्रो0 पुष्पेंद्र दुबे उपस्थित रहेंगे।
संगोष्ठी के संयोजक एवं प्रौढ एवं सतत शिक्षा विभाग के विभागाध्यक्ष प्रो0 अनूप कुमार ने बताया कि तीन दिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी में आचार्य विनोबा भावे के अनछुए पहलुओं को देशभर के विद्वानों द्वारा उजागर किया जायेगा। संगोष्ठी के दौरान राज्यपाल द्वारा विनोबा भावे के समाजोपयोगी सिद्धांतों को आम जनमानस तक पहुॅचाने के लिए विभाग में स्थापित पुस्तकालय का उद्घाटन करेंगी। इसके अतिरिक्त प्रौढ़ एवं सतत शिक्षा विभाग में फैशन डिजाइनिंग के छात्राओं एवं शिक्षकों के सतत प्रयास से सृजन-2022 की तीन दिवसीय प्रदशनी लगाई जा रही है।
इसमें देश के प्रधानमंत्री के स्किल इण्डिया व वोकल फाॅर लोकल को बढ़ावा देने के लिए 25 से लेकर 27 अप्रैल तक प्रदर्शनी चलेगी जिसमें विभिन्न प्रकार के हैंडीक्राफ्ट, डेकोरेटिंग समानों को प्रदर्शन एवं बिक्री की जायेगी। इसका उद्घाटन 25 अप्रैल प्रात 10 बजे विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो0 रविशंकर सिंह द्वारा किया जायेगा। प्रो0 अनूप कुमार ने बताया कि इस संगोष्ठी के प्रधान संरक्षक कुलपति रविशंकर सिंह सहित संरक्षक मंडल में विश्वविद्यालय के प्रोफेसर शामिल किया गया है। इसके अलावा परामर्शदात्री समिति, आयोजन समिति का गठन किया गया है। इस संगोष्ठी के लिए देशभर के विद्वानों, शिक्षकों शोधार्थियों ने पंजीकरण करा लिया है।
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